482वीं नाटी इमली भरत मिलाप की तैयारियां: परंपरा, भव्यता और चुनौतियों के बीच ऐतिहासिक आयोजन 3 अक्टूबर को

श्री चित्रकूट रामलीला समिति, काशी द्वारा आयोजित 482वां विश्वविख्यात नाटी इमली भरत मिलाप 3 अक्टूबर 2025 को सम्पन्न होगा। यह आयोजन काशी के सबसे बड़े धार्मिक आयोजनों में से एक है, जिसमें हर साल लाखों श्रद्धालु शामिल होते हैं।

परंपरा और महत्व:
श्री चित्रकूट रामलीला आश्विन कृष्ण नवमी से आश्विन शुक्ल पूर्णिमा तक मानस के वर्जित प्रसंगों के अनुसार पूर्व निर्धारित स्थलों पर लगभग 7 किलोमीटर की परिधि में आयोजित होती है। भरत मिलाप की लीला अपनी भव्यता, प्राचीनता और ऐतिहासिक महत्व के कारण विश्वविख्यात है। इसमें वाराणसी, पूर्वांचल व देश-विदेश से भी श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं। यह काशी के लक्खी मेलों में शुमार है।

कार्यक्रम का विस्तृत समय-सारिणी:

  • अपराह्न 3:15 बजे धूपचण्डी स्थित रामलीला मैदान में पुष्पक विमान का पूजन।
  • अपराह्न 3:45 बजे राम, लक्ष्मण, जानकी अपने सेना प्रमुखों के साथ धूपचण्डी मैदान से नाटी इमली के लिए प्रस्थान।
  • सायं 4:00 बजे पुष्पक विमान का नाटी इमली मैदान में आगमन।
  • सायं 4:30 बजे भरत-शत्रुघ्न व अयोध्यावासियों का आगमन।
  • सायं 4:35 बजे मंचासीन होकर 4:40 बजे राम-लक्ष्मण-भरत-शत्रुघ्न का मिलाप।
  • सायं 4:50 बजे भरत मिलाप सम्पन्न।
  • सायं 5:00 बजे पुष्पक विमान का अयोध्या (बड़ा गणेश) के लिए प्रस्थान।
  • सायं 7:00 बजे आरती के साथ भरत मिलाप लीला सम्पन्न।

समिति की चुनौतियां और मांगें:
समिति ने बताया कि प्रशासनिक और स्थानीय सहयोग के अभाव में आयोजन स्थलों पर अतिक्रमण और अव्यवस्था बढ़ रही है। धूपचण्डी से अयोध्या बड़ागणेश तक की सड़कें अत्यंत खराब स्थिति में हैं। इसी मार्ग पर नंगे पांव यादव बंधु भारी-भरकम पुष्पक विमान कंधे पर लेकर चलते हैं। समिति ने नगर आयुक्त, जिलाधिकारी, मण्डलायुक्त और पुलिस प्रशासन को सड़क मरम्मत, सफाई, बिजली और यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने का ज्ञापन दिया है, लेकिन अभी तक कार्य शुरू नहीं हुआ है।

समिति ने यह भी मांग की है कि चौकाघाट की विख्यात विजयादशमी लीला के मार्गों और क्षतिग्रस्त सड़कों का मरम्मत व निर्माण कार्य भरत मिलाप से पूर्व करवा दिया जाए, ताकि लाखों श्रद्धालु बिना असुविधा के शोभायात्राओं में शामिल हो सकें।

काशी नरेश की उपस्थिति:
परंपरा के अनुसार इस वर्ष भी पूर्व काशी नरेश महाराज अनन्त नारायण सिंह अपने दल-बल के साथ भरत मिलाप में शामिल होंगे।

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